बागवानी शारीरिक स्वास्थ्य के लिए लाभकारी है

मानसिक शांति का एहसास और दिमाग को विकसित करने में मदद करता है बागवानी

हरे भरे पेड़ पौधे सभी को अच्छे लगते हैं। यदि इंसान अपनी व्यस्त दिनचर्या में से थोड़ा सा समय निकालकर अगर बागवानी को देते हैं तो यह एक अच्छा संकेत होता है। जिनका शौक बागवानी करना होता है उनकी मानसिक स्थिति अच्छी रहती है। ऐसे लोग ज्यादा शांत और दिमागी रुप से मजबूत होते हैं। साथ ही उनकी निर्णय लेने की क्षमता भी अच्छी होती है।

बागवानी केवल एक शौक नहीं है, बल्कि इससे व्यक्ति के विकास की मानसिकता विकसित करने में भी मदद मिल सकती है। जब एक व्यक्ति बीज को पौधों के रूप में फलते-फूलते देखते हैं, तो समझते हैं कि कैसे एक छोटी-सी चीज किसी बड़ी चीज में विकसित हो सकती है तो यह जीवन का एक बड़ा सबक है जो व्यक्ति के दिमाग के विकास को बढ़ाता है। बागवानी करना किस तरह से काम करता है आइये जाने-

मानसिक शांति का एहसास और मानसिकता का विकसित करने में मदद 

हरियाली देखकर मानसिक शांति का एहसास होता है। इतना ही नहीं गार्डनिंग से बॉडी में हैप्पी हार्मोन का स्तर भी बढ़ता है क्योकि  गार्डन की धूल-मिट्टी में एंटी-डिप्रेसेंट पाया जाता है, जिससे व्यक्ति का मूड अच्छा होना या खुशनुमा होता है जो खुशहाली बढ़ाने में मदद करता है। 

बागवानी केवल एक शौक नहीं है, बल्कि इससे आपको मानसिकता विकसित करने में भी मदद मिल सकती है। जब आप बीज को पौधों के रूप में फलते-फूलते देखते हैं, तो आप देखते हैं कि कैसे एक छोटी सी चीज किसी बड़ी चीज में विकसित हो सकती है। यह जीवन का एक बड़ा सबक है, जो आपके दिमाग को विकास की दिशा में सोचने को मजबूर करता है। बागवानी में समय बिताने से आपकी उम्मीद बनी रहती है और आप जल्‍दी से नहीं टूटते। 

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बागवानी स्वीकार्यता सिखाती है और पूर्णतावाद विचारों से छुटकारा 

मानसिक संतुष्टि और अस्तित्व के लिए स्वीकृति बहुत महत्वपूर्ण है। हम अक्सर ऐसी चीजों के बारे में ज्‍यादा सोचने या चिंता करने लगते हैं, जिन्हें बहुत ध्यान देने की आवश्यकता नहीं है। जीवन की असफलताओं और अप्रत्याशितता को स्वीकार करने से आपको एक अच्छे इंसान के रूप में विकसित होने में मदद मिलती है। विशेषज्ञों का मानना है कि मन की शांति पाने और स्वीकृति प्राप्त करने का सबसे अच्छा तरीका बागवानी है।

 चीजों को परिपूर्ण बनाने के लिए, हम बहुत अधिक तनाव को आकर्षित करते हैं, जो संकट मानसिक स्वास्थ्य को परेशान कर सकते हैं। यह व्यक्तिगत और व्यावसायिक जीवन को प्रभावित करता है। इन ‘पूर्णतावाद’ विचारों से छुटकारा पाने के लिए बागवानी एक बेहतरीन उपाय है।

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बागवानी करने से तनाव कम होगा 

तनाव एक नकारात्मक भावना है. प्रत्येक व्यक्ति चाहे वो किसी भी वर्ग या उम्र का हो, अनावश्यक रूप से तनाव महसूस करता है। 75% लोगों ने माना है कि तनाव की वजह से उनका शारीरिक स्वास्थ्य भी प्रभावित हुआ है। मानसिक रूप से आपका तनाव चिंता और अवसाद का कारण बन सकता है। 

अपने बच्चों को बागवानी सिखाएं, उन्हें धैर्यवान और मेहनती बनाएं

बागवानी एक ऐसी एक्टिविटी है, जिसकी मदद से बच्चे प्रकृति के ओर करीब जा सकते हैं और वे प्रकृति से प्रेम करना सीखते हैं। उन्हें संजोना और स्वच्छता को लेकर जागरूक होते हैं। प्रकृति के नजदीक रहने से मन में शांति और दिमाग में स्थिरता भी बनी रहती है। 

अपने बच्चों को उनके वातावरण की प्राकृतिक चीजों से परिचित कराएं। पार्कों, बगीचों या आस-पास के प्राकृतिक स्थान पर जितना संभव हो उतना बाहर जाने की कोशिश करें। उन्हें चलाने, प्रयोग करने और गंदे होने दें। आप पक्षियों, फूलों, पेड़ों, कीड़ों या ऐसी किसी भी चीज़ का निरीक्षण कर सकते हैं जो आपकी रुचि जगाती है।

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बढ़ेगी रोग-प्रतिरोधक क्षमता

बागीचे की निराई, गुराई यानी मिट्टी के साथ संपर्क आपकी इम्यूनिटी बूस्ट करता है. बागवानी आपके शरीर में न्यूट्रोफिल, श्वेत रक्त कणिकाओं (डब्ल्यूबीसी) का उत्पादन करने में मदद करती है। WBC जन्मजात शारीरिक प्रतिक्षा प्रणाली का हिस्सा होती हैं और शरीरी पर प्रतिघात करने वाले सूक्ष्मजीव से रक्षा करती हैं। ये कणिकाएं उस तरह के बायोफाइटर्स हैं जो आप अपने शरीर में चाहते हैं, चिंता और अवसाद को दूर करती है

प्रकृति के करीब रहने से मन शांत होता है, ये तो सभी जानते होंगे। जब आप बागवानी करते हैं तो मन प्रसन्न होता है और चिंताएं और अवसाद को मिटाने में मदद मिलती है।

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अपने उद्देश्यों पर रहेगा ध्यान

बागवानी आपके जीवन में स्वयं के उद्देश्यों को प्राथमिकता से समझने और उन पर विचार करने में सहायक होगी। अब आप हर सुबह उठने के लिए नहीं जी रहे हैं, बल्कि आपके पास देखभाल करने, पोषण करने के लिए और इन्हें बढाने के लिए आपके पास पौधे हैं।  बागवानी के बाद, आप ऐसे परिणाम देखेंगे जो निश्चित रूप से आपको गर्व और उपलब्धि की भावना से भर देंगे। ये भावना फील गुड हार्मोन जैसे डोपामाइन और सेरोटोनिन को बढ़ाएंगी।

ये हॉर्मोन मूड को स्थिर रखने का कार्य करता है। आपके पाचन, नींद की क्रिया और हड्डी की सेहत भी नियंत्रित करता है। इतना ही नहीं, यह तनाव, अवसाद और चिंता को दूर करने का भी काम करता है। आप रोजाना कैसा महसूस करते हैं, इसमें सेरोटोनिन हॉर्मोन की अहम भूमिका होती है। 

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शरीर की कसरत

आप रोज जिम नहीं जा सकते लेकिन अगर सुबह उठकर पेड़ों में पानी डालने के लिए जब आप पूरे बगीचे में टहलते हैं तो इससे आपकी सैर हो जाती है। ये सैर ही आपके शरीर और मन को स्वस्थ रखने में मदद करती है। पूरे शरीर की एक्सरसाइज होती है।

अगर आप फिट रहने के लिए एक्सरसाइज नहीं करते हैं तो फिर बागवानी करने की आदत डाल लीजिए, क्योंकि बागवानी करने से पूरे शरीर की एक्सरसाइज हो जाती है और यह फिट रहने का एक हेल्दी तरीका भी है दरअसल, बागवानी करते समय शरीर की सभी मांसपेशियां एक्टिव हो जाती हैं।


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